मंडी/बल्ह : 11 अगस्त : वीरवार को हुई बारिश से बल्ह का पूरा क्षेत्र फ्लड की चपेट में आ गया था और प्रस्तावित एयरपोर्ट का क्षेत्र लगातार बाढ़ की मार झेलता रहा है। दूसरी तरफ सरकार द्वारा फ्लड जोन एरिया भी घोषित किया जा चुका है और इसलिए आज तक इस इलाके में कोई सरकारी उपक्रम नहीं लग सका है। क्षेत्र के रत्ती में औद्योगिक एरिया बनाया गया है। यह जानकारी देते हुए बल्ह बचाओ किसान संघर्ष समिति के कार्यकारी अध्यक्ष प्रेमदास चौधरी और सचिव नंद लाल वर्मा ने बताया कि वर्ष 1962 की बाढ़ इतनी भयंकर थी कि गांव के गांव व सैंकड़ों लोग व मवेशी बह गए थे। यहां तक कि डड़ोर से नेरचोक सड़क के स्तर को एक मीटर कम करना पड़ा था और उस समय लोगों को दूसरी जगह बसाया गया। उसके बाद भी कई बार बाढ़ आने से लोगों के घर, गौशाला और अन्य सम्पति पानी में डूबते रहे है और भारी नुकसान उठाना पड़ता है। हाल ही में 13 अगस्त 2018 को इस प्रस्ताविक हवाई पट्टी का करीब 80फीसदी हिस्सा पानी में समा गया था। लोहारी खड्, कंसा खड्, और सुकेती खड्, से यह प्रस्तावित अड्डा घिरा हुआ है। प्रस्ताबित एअरपोर्ट को 25-30 फुट ऊपर उठाना पड़ेगा जिसके कारण साथ में लगते हुए गांव की जमीन व मकानों को हमेशा खतरा बना रहेगा और अधिक जमीन अधिग्रहण की ज़रुरत पड़ेगी जिससे पूरा बल्ह बर्बाद हो जाएगा। अत: मुख्यमंत्री से अनुरोध है कि एअरपोर्ट के अपने सपने को दूसरी जगह साकार करने की योजना बनाये और बल्ह के किसानो को बर्बाद होने से बचाने का प्रयास करें।