मंडी : मंडी में मंगलवार से सरदार पटेल यूनिवर्सिटी का विधिवत शुभारंभ होगा। प्रदेश के मुख्यमंत्री जयराम ठाकुर सुबह 11 बजकर 10 मिनट पर पडडल में कैंपस लोकार्पण के बाद 11 बजकर 40 मिनट पर मोतीपुर स्थित देव सदन में जनसभा को संबोधित करेंगे। मुख्यमंत्री के स्वागत के लिए विश्वविद्यालय प्रशासन ने तैयारियां पूर्ण कर ली हैं वहीं शहर में नगर निगम और अखिल भारतीय विद्यार्थी परिषद के पुराने और नए कार्यकर्ताओं ने मुख्यमंत्री के स्वागत में कई तोरण द्वार लगाकर इस सौगात के लिए मुख्यमंत्री का आभार व अभिनंदन व्यक्त किया है।
खास यह है कि मंडी में प्रदेश की दूसरी राज्य यूनिवर्सिटी के खुलने से 5 जिलों के हजारों विद्यार्थियों को सीधे तौर पर लाभ होगा। अभी तक ये विद्यार्थी हिमाचल प्रदेश विश्वविद्यालय से संबद्ध कॉलेजों में पढ़ाई कर रहे थे। अब मंडी में खुले नए विश्वविद्यालय से इनके समय और धन की बचत के साथ ही उन्हें अब छोटे-छोटे काम के लिए शिमला की दौड़ नहीं लगानी होगी। विश्व विद्यालय के वाइस चांसलर डी डी शर्मा ने कहा कि सरदार पटेल विश्वविद्यालय मंडी के अधीन मंडी समेत 5 जिलों के 137 कॉलेज आएंगे। इनमें मंडी, कांगड़ा, चंबा, लाहौल-स्पीति और कुल्लू जिले के कॉलेज शामिल हैं।
बता दें कि गत माह मुख्यमंत्री जयराम ठाकुर की अध्यक्षता में हुई प्रदेश मंत्रिमंडल की बैठक में इसे लेकर स्वीकृति दी गई थी। बैठक में सरदार पटेल विश्वविद्यालय मंडी और हिमाचल प्रदेश विश्वविद्यालय शिमला के क्षेत्राधिकार के निर्धारण को भी स्वीकृति दी गई थी जिसके तहत अब सरदार पटेल विश्वविद्यालय मंडी के तहत 137 महाविद्यालय, जबकि शिमला, सिरमौर, सोलन, किन्नौर, बिलासपुर, हमीरपुर और ऊना जिलों के 165 महाविद्यालय हिमाचल प्रदेश विश्वविद्यालय शिमला के अंतर्गत आएंगे। हालांकि यहां जयराम सरकार सत्ता में आते ही कलस्टर यूनिवर्सिटी शुरू हो गई थी लेकिन अब राज्य की दूसरी पूर्ण यूनिवर्सिटी बनाने का श्रेय जनता मुख्यमंत्री जयराम ठाकुर को दी दे रहे हैं क्योंकि बहुत कम अवधि में मंडी को यह सौगात मिली है जिसके लिए अखिल भारतीय विद्यार्थी परिषद भी काफी समय से संघर्षरत थी।
भाजयुमो अध्यक्ष एवम पूर्व अखिल भारतीय विद्यार्थी परिषद के पूर्व नेता पडडल से पार्षद सोमेश उपाध्याय का कहना है कि ये केवल और केवल मुख्यमंत्री जयराम ठाकुर के प्रयासों से ही संभव हुआ है। पार्षद पंकज कपूर का कहना है कि मुख्यमंत्री जी स्वयं इस महाविद्यालय के छात्र रहे हैं और यह प्रदेश का सबसे पुराना कालेज है जो 1948 में बना था। कांगड़ा, चंबा, मंडी, कुल्लू और लाहौल स्पीति जिलों के बच्चों के लिए मुख्यमंत्री जी ने जो ये सौगात दी है वो ऐतिहासिक है क्योंकि यहां के बच्चों को यूनिवर्सिटी के लिए शिमला जाना पड़ता था लेकिन अब यहां के कालेज में पढ़ने वाले छात्र छात्राओं को मंडी में ही सभी सुविधाएं मिलेगी।
Author: Daily Himachal News
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